Table Of Contents
- चंबल नदी:
- 1. परिचय और सामान्य जानकारी
- 2. चंबल नदी का उद्गम स्थल
- 3. चंबल नदी का मार्ग और जिलों से प्रवाह
- 4. चंबल नदी की सहायक नदियाँ
- 5. चंबल पर जलप्रपात (Waterfalls)
- 6. चंबल पर प्रमुख बाँध और परियोजनाएँ
- 7. चंबल किनारे प्रमुख धार्मिक और सांस्कृतिक स्थल
- 8. चंबल नदी का भौगोलिक और पर्यावरणीय महत्व
- 9. चंबल और पर्यटन
- 10. आर्थिक और सामाजिक महत्व
- 11. ऐतिहासिक और पौराणिक महत्व
- 12. चंबल नदी की लंबाई और प्रवाह क्षेत्र
- 13. चंबल अभयारण्य की विशेषताएँ
- निष्कर्ष
- 14. संभावित MPPSC प्रश्न
चंबल नदी:
चंबल नदी मध्य भारत की प्रमुख नदियों में से एक है, जो अपनी अनूठी जैव विविधता, ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व के लिए प्रसिद्ध है। यह नदी यमुना नदी की सहायक नदी है और इसका बहाव क्षेत्र राजस्थान, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश तक विस्तृत है।
1. परिचय और सामान्य जानकारी
- नाम का अर्थ: “चंबल” शब्द की उत्पत्ति संस्कृत के “चर्मण्य” से मानी जाती है।
- अन्य नाम: चर्मण्वती।
- विशेषता: यह भारत की एकमात्र नदी है, जो पूरी तरह से प्रदूषण मुक्त रहने के लिए प्रसिद्ध है।
2. चंबल नदी का उद्गम स्थल
- स्थान: जनापाव पहाड़ी, महू (इंदौर) जिला, मध्य प्रदेश।
- ऊँचाई: लगभग 843 मीटर।
- भौगोलिक स्थिति:
जनापाव पहाड़ी सतपुड़ा पर्वत श्रृंखला का हिस्सा है, जहाँ से यह नदी प्रारंभ होती है।
3. चंबल नदी का मार्ग और जिलों से प्रवाह
क्रमांक | जिला (मध्य प्रदेश) | मुख्य बिंदु और गतिविधियाँ |
---|---|---|
1 | इंदौर | उद्गम स्थल (जनापाव)। |
2 | उज्जैन | ऐतिहासिक और धार्मिक महत्व। |
3 | मंदसौर | कृषि और सिंचाई के लिए उपयोगी। |
4 | रतलाम | उपजाऊ मिट्टी और ग्रामीण अर्थव्यवस्था। |
5 | मुरैना | चंबल के बीहड़ और वन्यजीव अभयारण्य। |
6 | भिंड | बीहड़ और दस्यु प्रभाव वाले क्षेत्र। |
4. चंबल नदी की सहायक नदियाँ
मुख्य सहायक नदियाँ | प्रवाह का क्षेत्र |
---|---|
बाईं ओर (Left Bank) | |
काली सिंध | शाजापुर, देवास। |
पार्वती | उज्जैन, गुना। |
शिप्रा | उज्जैन। |
दाईं ओर (Right Bank) | |
कुवारी | मुरैना। |
सिंध | शिवपुरी, भिंड। |
5. चंबल पर जलप्रपात (Waterfalls)
चंबल नदी में कई प्रसिद्ध जलप्रपात नहीं हैं, लेकिन इसके मार्ग में छोटे-छोटे झरने और जलधारा क्षेत्र मिलते हैं, जो इसे मनोरम बनाते हैं।
6. चंबल पर प्रमुख बाँध और परियोजनाएँ
चंबल नदी पर अनेक बाँध और सिंचाई परियोजनाएँ बनाई गई हैं, जो जल संसाधन के लिए महत्वपूर्ण हैं:
बाँध/परियोजना | स्थान | उपयोग |
---|---|---|
गांधी सागर बाँध | मंदसौर | सिंचाई और बिजली उत्पादन। |
राणा प्रताप सागर बाँध | कोटा (राजस्थान) | पनबिजली उत्पादन। |
जवाहर सागर बाँध | कोटा (राजस्थान) | सिंचाई और बिजली। |
कोटा बैराज | कोटा (राजस्थान) | सिंचाई और जल आपूर्ति। |
7. चंबल किनारे प्रमुख धार्मिक और सांस्कृतिक स्थल
स्थान | महत्व |
---|---|
जनापाव | चंबल का उद्गम स्थल, भगवान परशुराम का जन्मस्थान। |
उज्जैन | महाकालेश्वर ज्योतिर्लिंग और कुंभ मेला। |
चंबल अभयारण्य | मुरैना और भिंड जिलों में, घड़ियाल और डॉल्फिन के लिए प्रसिद्ध। |
8. चंबल नदी का भौगोलिक और पर्यावरणीय महत्व
- बीहड़ क्षेत्र:
चंबल नदी के किनारे बीहड़ (रेवाइंस) का निर्माण होता है, जो इसे अद्वितीय बनाता है। - जैव विविधता:
- घड़ियाल: चंबल भारत में घड़ियालों का सबसे बड़ा निवास क्षेत्र है।
- डॉल्फिन: गंगा डॉल्फिन भी इस नदी में पाई जाती है।
- वनस्पति: बीहड़ों के जंगल में अनेक औषधीय पौधे और कंटीले झाड़ियाँ पाई जाती हैं।
9. चंबल और पर्यटन
- चंबल सफारी:
पर्यटकों के लिए चंबल नदी पर नाव सफारी आयोजित की जाती है। - चंबल अभयारण्य:
यह वन्यजीव प्रेमियों और प्रकृति प्रेमियों के लिए स्वर्ग है।
10. आर्थिक और सामाजिक महत्व
- सिंचाई:
चंबल नदी मध्य प्रदेश, राजस्थान, और उत्तर प्रदेश के लाखों हेक्टेयर कृषि भूमि की सिंचाई करती है। - बिजली उत्पादन:
चंबल पर बने बाँध पनबिजली उत्पादन में सहायक हैं। - पेयजल आपूर्ति:
नदी का जल आस-पास के गाँवों और शहरों में पीने के पानी के रूप में उपयोग किया जाता है।
11. ऐतिहासिक और पौराणिक महत्व
- महाभारत और रामायण में उल्लेख:
चंबल का उल्लेख महाभारत में चर्मण्वती के रूप में किया गया है। - पौराणिक कथा:
यह माना जाता है कि यह नदी राजा रत्नाकर की तपस्या के बाद प्रकट हुई थी। - दस्यु संस्कृति:
चंबल घाटी एक समय में दस्यु (डाकुओं) के लिए प्रसिद्ध थी।
12. चंबल नदी की लंबाई और प्रवाह क्षेत्र
- कुल लंबाई: 1,024 किमी।
- मध्य प्रदेश में: 320 किमी।
- राजस्थान में: 226 किमी।
- उत्तर प्रदेश में: 30 किमी।
- गिरावट स्थल: यह यमुना नदी में उत्तर प्रदेश के इटावा जिले के पास मिलती है।
13. चंबल अभयारण्य की विशेषताएँ
- स्थान: मुरैना, भिंड और राजस्थान के कुछ भाग।
- मुख्य प्रजातियाँ:
- घड़ियाल।
- गंगा डॉल्फिन।
- कछुए और अन्य जलीय जीव।
निष्कर्ष
चंबल नदी न केवल मध्य प्रदेश बल्कि भारत के पर्यावरण और जल संसाधन प्रबंधन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। इसका जैव विविधता संरक्षण, सिंचाई, बिजली उत्पादन और पर्यटन में योगदान इसे राष्ट्रीय धरोहर बनाता है।
14. संभावित MPPSC प्रश्न
- चंबल नदी का उद्गम स्थल कहाँ स्थित है?
- चंबल नदी की प्रमुख सहायक नदियों का उल्लेख करें।
- चंबल अभयारण्य में कौन-कौन सी प्रमुख प्रजातियाँ पाई जाती हैं?
- चंबल नदी पर बने प्रमुख बाँधों और उनकी उपयोगिता का विवरण दें।
- चंबल नदी का ऐतिहासिक महत्व क्या है?
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